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सोमवार, 14 सितंबर 2020

20 करोड़ की जमीन का साढ़े तीन करोड़ में सौदा करवाने वाले दलाल समेत दो अभियुक्त गिरफ्तार

हिरणमगरी थाना पुलिस ने करोड़ों की जमीन का सौदा करवाने वाले दलाल और फर्जी सवचंद के खाते से पैसे निकालने वाले को गिरफ्तार कर लिया। थानाधिकारी डॉ. हनवंतसिंह राजपुरोहित ने बताया कि जमीन का सौदा करवाने वाले मनोहरसिंह पुत्र तेजसिंह राव निवासी मनवाखेड़ा और साथी दुर्गेश पुत्र लालचंद वैष्णव निवासी ढीकली प्रतापनगर को गिरफ्तार किया।

मामले में 13 लोग अभी भी फरार हैं, जिनकी तलाशी जारी है। पुलिस के मुताबिक पूछताछ में सामने आया कि मनोहरसिंह राव भी इस जमीन का सौदा करवाने वाले दलालों के साथ में था और इसके एवज में इसे पहले 6.50 लाख रुपए मिले थे। आरोपी दुर्गेश वैष्णव ने सवचंद के खाते से 40 लाख रुपए अपने खाते में ट्रांसफर करवाए थे, जिन्हें आरोपी ने अपने खाते से निकालकर आरोपियों को दे दिए थे और इसके एवज में दुर्गेश वैष्णव को भी पैसा मिला था।

ये हाे चुके गिरफ्तार : मामले में पूर्व में पुलिस ने जमीन खरीदने वाले राणावत पोल्ट्री फार्म के मालिक अनिलसिंह, पानेरी उपवन साइफन चौराहा निवासी महेश जैन, बड़ीसादड़ी हाल श्रीजी विहार शोभागपुरा निवासी भरत चौधरी, इनके परिचित मंगलवाड़ चौराहा निवासी निखिल शर्मा को गिरफ्तार किया था। पुलिस ने आरेापियों को न्यायालय में पेश किया जहां से दो दिन के रिमांड पर भेज दिया गया है।

यह था मामला : सवचंद मगनलाल मेहता निवासी 64 कामधेनु सोसायटी अंजादर कच्छ गुजरात ने यूआईटी में से 15246 वर्गफीट जमीन 1996 खरीदी थी। इसके बाद वर्ष 1998 में सवचंद की मौत हो गई थी। 2020 में उसके वारिसों का पता चला कि उसके जमीन का फर्जी रजिस्ट्री करवा दी है। पता किया तो सामने आया कि उसके पिता के स्थान पर फर्जी दस्तावेज बनाकर और गलत फोटो लगाकर जमीन की रजिस्ट्री अनिल सिंह के नाम पर करवाकर जमीन का 6 कराेड़ 21 लाख में सौदा कर 3.54 करोड़ रुपए एक बैंक में उसके पिता के नाम से खाता खुलवाकर जमा भी करवा दिए। इस राशि को निकलवा भी लिया गया। जबकि इस जमीन की वर्तमान कीमत 20 करोड़ से अधिक है।

यह था मामला : सवचंद मगनलाल मेहता निवासी 64 कामधेनु सोसायटी अंजादर कच्छ गुजरात ने यूआईटी में से 15246 वर्गफीट जमीन 1996 खरीदी थी। इसके बाद वर्ष 1998 में सवचंद की मौत हो गई थी। 2020 में उसके वारिसों का पता चला कि उसके जमीन का फर्जी रजिस्ट्री करवा दी है। पता किया तो सामने आया कि उसके पिता के स्थान पर फर्जी दस्तावेज बनाकर और गलत फोटो लगाकर जमीन की रजिस्ट्री अनिल सिंह के नाम पर करवाकर जमीन का 6 कराेड़ 21 लाख में सौदा कर 3.54 करोड़ रुपए एक बैंक में उसके पिता के नाम से खाता खुलवाकर जमा भी करवा दिए। इस राशि को निकलवा भी लिया गया। जबकि इस जमीन की वर्तमान कीमत 20 करोड़ से अधिक है।

इधर, मृत को जिंदा बता जमीन बेची, दो गिरफ्तार

उदयपुर | डबोक थाना क्षेत्र में पौने 11 बीघा जमीन को मृत महिला के साल 2007 में फर्जी हस्ताक्षर कर बेचने के मामले में दो अभियुक्तों को गिरफ्तार किया। डबोक थानाधिकारी लीलाधर मालवीय ने बताया कि मावली तहसील के नाहरमगरा गांव की कृषि भूमि आराजी नंबर 4001/1951 रकबा पौने ग्यारह बीघा की खातेदार फरीदा पत्नी इशाक अली, निवासी बोहरवाड़ी उदयपुर की वर्ष 2003 मे माैत हाेने के बाद भी कुलसुम बेगम ने विवादित दस्तावेज पावर आफ अटार्नी 5 अक्टूबर 1994 के आधार पर उपपंजीयन कार्यालय मावली में फरीदा बोहरा के जीवित होकर विदेश में रहने के झूठे शपथ-पत्र पेश कर दिए और जमीन को

फिरोज खान, हरि सिंह अाैर वगत सिंह निवासी डबोक को बेचान कराकर रजिस्ट्री करा दी। इसके बाद हरिसिंह, वगतसिंह अाैर फिरोज ने 3 माह बाद मई 2007 में वहीं जमीन दयालाल चौधरी निवासी उदयपुर को बेच दी। पुलिस ने मिथ्या शपथ-पत्र के आधार पर फर्जी रजिस्ट्री करवाने के आरोप में कुलसुम बेगम पत्नी रज्जाक मोहम्मद निवासी ओटीसी स्कीम, अंबामाता उदयपुर को और षडयंत्र में शामिल रहने के आरोप में पति रज्जाक मोहम्मद पिता पीर बख्श निवासी अंबामाता को गिरफ्तार कर काेर्ट में पेश किया। जहां से न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया। मामले की रिपोर्ट न्यू अहिंसापुरी फतहपुरा निवासी अब्बास मुस्तफा पुत्र इशाक मुस्तफा ने दर्ज कराई थी।



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Two accused, including broker, who got deal of 20 crores of land for three and a half crores arrested